एसईसीएल के कोयला उत्पादन और प्रेषण लक्ष्य में इजाफा
200 मिलियन टन के सालाना लक्ष्य को भेदने की कवायद
कोरबा 07 मई। कोरबा.पश्चिम क्षेत्र में नए वित्तीय वर्ष की शुरुआत एसईसीएल ने कोयला उत्पादन, ओबीआर व डिस्पैच में नया रिकॉर्ड बनाकर की है। अप्रैल में कम्पनी ने 14.12 मिलियन टन कोयला उत्पादन, 14.50 मिलियन टन कोयला प्रेषण किया है। मई के लक्ष्य में इजाफा किया गया है। मई में 15 मिलियन टन का उत्पादन और लक्ष्य 17 मिलियन टन प्रेषण करना होगा। एसईसीएल ने हाल ही में समाप्त हुए वित्तीय वर्ष 22-23 में रिकॉर्ड 167 मिलियन टन कोयला उत्पादन दर्ज किया है जो कि कंपनी के इतिहास का सर्वाधिक कोयला उत्पादन है। वित्तीय वर्ष 23.24 के लिए कंपनी को 200 मिलियन टन कोयला उत्पादन और डिस्पैच का वार्षिक लक्ष्य मिला है। इस लक्ष्य को पूरा करने हर माह कोयला उत्पादन और प्रेषण का लक्ष्य दिया जाता है। अप्रैल में कंपनी को 14 मिलियन टन उत्पादन और 16.20 मिलियन टन प्रेषण का लक्ष्य दिया गया था। इसके मुकाबले मई में 15.08 मिलियन टन उत्पादन और 17.05 मिलियन टन कोयला प्रेषण का लक्ष्य है।
एसईसीएल ने वित्तीय वर्ष के पहले माह में जिस गति से कोयला उत्पादन और प्रेषण किया है उसे देख कर लग रहा है कि मई के लक्ष्य को भी पूरा कर लेगी। अप्रैल में जिले की खदानों से सर्वाधिक कोयला उत्पादन हुआ था। मई में भी जिले की तीनों मेगा परियोजनाओं सहित कोरबा एरिया से काफी उम्मीदें हैं। कोयला मंत्रालय, कोल इंडिया सहित एसईसीएल के अधिकारी लगातार जिले की मेगा परियोजना का दौरा कर उत्पादन और कोयला प्रेषण बढ़ाने पर जोर दे रहे हैं। साथ ही खदान विस्तार की कवायद की जा रही है। इसे लेकर विभिन्न गांवों का दौरा भी अफसर कर चुके हैं। विस्तार में आ रही दिक्कतों को दूर कर कोयला उत्पादन बढ़ाने पर फोकस किया जा रहा है। एसईसीएल सीएमडी ने अबकी बार 200 मिलियन टन का नारा दिया है, जिसे हासिल करने पूरा जोर लगाया जा रहा है। यही वजह है कि वित्तीय वर्ष की शुरूआत के साथ ही एसईसीएल के उत्पादन और प्रेषण ने रफ्तार पकड़ी है।
पिछले कुछ दिनों में मौसम में बदलाव के साथ बारिश हो रही है। जिसके कारण कोयला उत्पादन और प्रेषण में आंशिक गिरावट दर्ज की गई है। 30 अप्रैल को 466.67 हजार टन के मुकाबले 440.42 और 1 मई को 486.45 हजार टन के मुकाबले 391.32 हजार टन उत्पादन दर्ज हुआ। इसी तरह 30 अप्रैल को 540 हजार टन कोयला उत्पादन के मुकाबले 460.19 और 1 मई को 550 हजार टन के मुकाबले 445.56 हजार टन डिस्पैच किया गया। हालांकि आगामी दिनों में डेली प्रोडक्शन और डिस्पैच में बढ़ोतरी होने की पूरी उम्मीद है।