खदान प्रभावित बस्तियों में एसईसीएल ने बंद किया जलापूर्ति, आंदोलन की तैयारी में माकपा

कोरबा 30 मई। माक्र्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने बांकी कोयला खदान बंद होने के बाद खनन प्रभावित बांकी बस्ती, मड़वाढोढ़ा और पुरैना गांव की बस्तियों में पेयजल आपूर्ति बंद किये जाने का आरोप लगाते हुए इसकी कड़ी निंदा की है और पूर्व की तरह पाइप लाइन और बोरवेल के माध्यम से जल आपूर्ति जारी रखने की मांग की है। इस संबंध में कोरबा महाप्रबंधक के नाम सौंपे एक ज्ञापन में माकपा ने 2 जून को कोयला परिवहन रोकने और बांकी बस्ती मेन रोड में चक्काजाम की चेतावनी दी है।

माकपा ने आरोप लगाते हुए कहा की खनन प्रभावित गांवों में जल आपूर्ति की जिम्मेदारी एसईसीएल की है। जब खनन कार्य चल रहा था, तब एसईसीएल के पानी से बारहों महीने इन गांवों के तालाब भरे रहते थे और किसान दोहरी फसल के साथ सब्जी उगा कर अपना जीवन यापन करते थे। अब जल आपूर्ति बंद होने से बढ़ती गर्मी के साथ निस्तारी का संकट बढ़ रहा है और मवेशियों के लिए भी पानी का इंतजाम करना कठिन हो जाएगा। माकपा नेता प्रशांत झा ने आरोप लगाया कि बांकी खदान से कमाई बंद होते ही अब एसईसीएल अपने सामाजिक उत्तरदायित्वों को पूरा करने से मुकर रहा है, जबकि किसानों की आजीविका सुनिश्चित करना उसकी जिम्मेदारी है और पानी जैसी बुनियादी सुविधाओं को पाना ग्रामीणों का अधिकार है। पानी की समस्या समाधान का लिखित आश्वासन देने के बाद भी एसईसीएल प्रबंधन अपने वायदे को पूरा नहीं कर रहा है। ज्ञापन सौंपने वालों में प्रमुख रूप से माकपा जिला सचिव प्रशांत झा, किसान सभा नेता जवाहर सिंह कंवर, श्रवण दास, दुपेश्वर दास, इंद्र कुंवर, नरेंद्र दास, दिलीप दास, राधेश्याम, दामोदर, पहर सिंह, अजित कंवर, शिवरतन, हीरा सिंह आदि शामिल थे।

माकपा की मोंगरा वार्ड पार्षद राजकुमारी कंवर ने आरोप लगाया है कि एसईसीएल ग्रामीणों को नगर निगम का पानी खरीदने के लिये मजबूर कर रहा है, जिसका माकपा विरोध करती है। उन्होंने कहा कि खनन प्रभावित गांवों को पूर्व की तरह निरूशुल्क जल आपूर्ति की जाए। उन्होंने बताया कि 2 जून को ग्रामीण जल नहीं, तो परिवहन नहीं के नारे के साथ बांकी की मुख्य सड़क को जाम करके कोयला आपूर्ति ठप करेंगे। माकपा ने अपनी प्रमुख मांगों में बांकी बस्ती और पुरैना गांव में पाइप लाइन के माध्यम से पेयजल सप्लाई चालू करने, बांकी बस्ती, मडवाढोढ़ा, पुरैना में तालाबों को खदान से पाइप लाइन के माध्यम से साल भर भरने की व्यवस्थाए इन ग्रामों में जहां अंडर ग्राउंड में पानी का भराव ज्यादा है वहां बोरहोल कर मोटर पंप लगाकर तालाबों को भरने के साथ किसानों को सिंचाई के लिए पानी की व्यवस्था की मांग रखी है।

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