लॉकडाउन में ऑनलाइन कारोबार की अनुमति देना छोटे व्यापारियों को खत्म करने की साजिश
0 व्यापारी हित में निर्णय नहीं तो असहयोग आंदोलन करेंगे : रामसिंह –
कोरबा, । लॉकडाउन में ऑनलाइन कारोबार की अनुमति देना छोटे व्यापारियों को खत्म करने की साजिश है, यह बर्दाश्त बाहर है। इसे लेकर देश भर में असहयोग आंदोलन किया जाएगा। कॉनफेडरेशन ऑफ आल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अमर परवानी के जारी इस बयान के संदर्भ में कोरबा जिला चेम्बर ऑफ कामर्स के अध्यक्ष रामसिंह अग्रवाल व महामंत्री मो. युनुस मेमन ने भी बयान जारी किया है। इन्होंने कहा है कि सरकार ने 20 अप्रैल के बाद ऑनलाइन और ई-कॉमर्स कंपनियों को अपने उत्पाद बेचने की छूट दे दी है, वहीं व्यापारियों को सिर्फ आवश्यक वस्तुओं की दुकान खोलने की छूट दी है। लॉकडाउन का पालन करते हुए व्यापारियों ने अपनी दुकानें बंद रखी है, ऐसे में ऑनलाइन व्यापार की छूट देने से न जाने कितने व्यापारियों कमर तोड़कर रख देगी। सरकार द्वारा ऑनलाइन व्यापार दी गई छूट का हम विरोध करते हैं। जहां एक ओर व्यापारियों की दुकानें बंद है वहीं ऑनलाइन बिजनेस को पूरी छूट से ई-कॉमर्स कंपनियां इलेक्ट्रॉनिक सामान, मोबाइल यह सब बेच सकती हैं। यह बहुत ही भेदभाव पूर्ण रवैया है, व्यापारियों को बांध के रखा गया है और ई-कॉमर्स को खुली छूट देना देश के 7 करोड़ और राज्य के 6 लाख कारोबारियों के साथ अन्याय है। सरकार के इस फैसले से देशभर के व्यापारियों में बहुत जबरदस्त आक्रोश है। व्यापारी नेताओं ने तय किया है कि अगर सरकार ने व्यापारी हित में निर्णय नहीं लिया तो महात्मा गांधी की तर्ज पर असहयोग आंदोलन करने पर मजबूर होंगे। महात्मा गांधी ने विदेशी व्यापार के देश में अनुचित तरीके से कब्जे के खिलाफ आंदोलन का बिगुल फूंका था, वहीं अब कैट के नेतृत्व में देशभर के व्यापारी असहयोग आंदोलन करेंगे। कैट ने इस मामले में देशभर के व्यापारी संगठनों से राय आमंत्रित किया है। कहा गया है कि यह बात सरकार जानती है कि ऑनलाइन कंपनियों से राजस्व का बड़ा नुकसान हो रहा है। केंद्र सरकार इस निर्णय पर पुर्नविचार करे वहीं राज्य सरकार भी ऑनलाइन और ई-कामर्स कंपनियों के पक्ष में दिए गए फैसले पर एकबारगी फिर से विचार करें, ताकि छोटे दुकानदारों को इस आपदा से बाहर निकाला जा सके।