व्याख्याता अभिलाष तिवारी व शिक्षिका श्वेता मिश्रा ले रहे ऑगमेंटेड रियालिटी तकनीक से क्लासेस

राज्य कार्यालय ने प्रयासों को सराहा.. हमारे नायक कालम में दिया स्थान

भाटापारा- शिक्षा के क्षेत्र में अभिनव प्रयोग के माध्यम से हाई स्कूल बिटकुली के व्याख्याता श्री अभिलाष तिवारी हाई स्कूल स्तर के बच्चों को विज्ञान विषय के पाठ्यक्रम का कमेंटेड रियलिटी के माध्यम से ऑनलाइन क्लास के द्वारा अध्यापन करा रहे हैं। मिडिल स्तर पर शासकीय पंचम दीवान पूर्व माध्यमिक शाला में शिक्षा सारथी सुश्री श्वेता मिश्रा थ्री डी एनिमेशन तकनीक पर आधरित मोबाइल एप्प का उपयोग कर आभासी दुनिया के लोक संसार की भांति बच्चो को क्लास में वातावरण का आभास कराते हुए नवाचारी ढंग से सीखने की प्रक्रिया का अभ्यास करा रही हैं।कोरोना काल की चुनौतीपूर्ण घड़ी में बच्चों के शिक्षण के लिए विशेष प्रयास करने हेतु एससीईआरटी द्वारा पढ़ाई तुहर द्वार की वेबसाइट पर भाटापारा ब्लॉक के श्री अभिलाष तिवारी एवं सुश्री श्वेता मिश्रा के कार्यों को हमारे नायक कालम में स्थान देकर
उनके प्रयासों को अनुकरणीय बताया गया है । सुश्री श्वेता मिश्रा शा पूर्व माध्यमिक शाला पंचम दीवान में अध्यापन करा रही हैं उनका मानना है कि शिक्षक शिल्पकार की भांति होता है जो विद्यार्थियों को गढ़ने का कार्य करता है। प्रौद्योगिकी के वर्तमान युग में ई लर्निंग, ऑनलाइन प्लेटफॉर्म ऑडियो विजुअल प्रेजेंटेशन एवं 3डी तकनीक पर आधारित विभिन्न माध्यमों के प्रयोग से उनके द्वारा बच्चों को पढ़ाया जा रहा है।बिटकुली हाई स्कूल के व्याख्याता अभिलाष तिवारी का मानना है आज के वैज्ञानिक युग मे नित नवीन अविष्कार हो रहे हैं,यह हमारे जीवन जीने के परम्परागत तौर-तरीके में परिवर्तन ला रहे है जिससे हमारे सोचने के तरीकों में भी परिवर्तन हो रहा है,ऐसा ही एक तकनीक  Augmented Reality है जो की चिकित्सा,इंजीनियरिंग, विज्ञान के क्षेत्र में बेहतर प्रयोग किया जा रहा है साथ ही शिक्षा एवं प्रशिक्षण में भी इसका अब इसका उपयोग किया जाने लगा है। ऑगमेंटेड रियलिटी का अर्थ है वास्तविक जैसा वातावरण, जिसका प्रयोग मोबाइल एप व कंप्यूटर के प्रयोग द्वारा होता है ,एप के द्वारा एक ऐसा माहौल तैयार किया जाता है जो कि वास्तविक से मिलता-जुलता रहता है |इसमे आसपास के वातावरण के साथ एक और आभासी दुनिया को जोड़ एक वर्चुअल दृश्य तैयार किया जाता है जो देखने में बिल्कुल वास्तविक लगता है |एक ओर जहाँ कोविड-19 वैश्विक महामारी के कारण बच्चों की विद्यालयीन शिक्षा जारी रखना उनको पढ़ाई से जोड़े रखना एक चुनौती है | वही शिक्षक वर्ग इससे उपजी बच्चों की पढ़ाई की शून्यता या कमी को विभिन्न मॉड्ल व नवाचारों से पूरा करने का पूर्ण प्रयास कर रहे हैं | अभिलाष तिवारी पढ़ाई के विभिन्न नवाचारों के द्वारा बच्चों को अध्यापन करा रहे हैं | इनमें से ऑगमेंटेड रियलिटी तकनीक के माध्यम से विज्ञान विषय का अध्यापन कार्य प्रमुख है |  उन्होंने बताया कॉन्फ्रेंस कॉल/व्हाट्सएप विडियो कॉल के द्वारा मार्च में लॉकडाउन होने के पश्चात बच्चों की पढ़ाई को जारी रखने के लिए प्रतिदिन 5 बच्चों को फोन लगाकर पढाना शुरू किया,फिर आसपास के बच्चें अपने दोस्तों के घर आकर पढ़ने लगे और संख्या बढ़ने लगी।वे कठिन  टॉपिक को व्हाट्सएप वीडियो कॉल के माध्यम से पढ़ाते है।पढ़ई तुंहरदुआर  कार्यक्रम के अंतर्गत उन्होंने अब तक 267 ऑनलाइन क्लास ली जिससे अन्य जिलों के विद्यार्थी भी लाभान्वित हो रहे हैं,इनके द्वारा cgschool.in  पोर्टल पर पाठ्यक्रम सामग्री भी अपलोड किया गया है। साथ ही वे प्रति सप्ताह विज्ञान विषय के विद्यार्थियों का ऑनलाइन क्विज एवं गूगल फार्म के माध्यम से आकलन का कार्य भी करते है एवम बच्चों के उत्साहवर्धन, जीवन मे संयम व संतुलन बनाये रखने, निराशावादी प्रवृत्ति से दूर रखने के लिए मोटिवेशन क्लास ली जाती है ,उपर्युक्त प्रयासों के साथ श्री तिवारी पी.एल.सी.बिटकुली के सचिव के रूप में अपने कार्यक्षेत्र में लगातार शिक्षकों के साथ मिलकर बच्चों के बेहतर भविष्य के लिए कार्य कर रहे हैं |
श्री अभिलाष तिवारी एव शिक्षिका श्वेता मिश्रा के कार्यों की राज्य कार्यालय द्वारा हमारे नायक शीर्षक में प्रेरणास्पद कहानी हेतु चयन किए जाने पर विकास खंड शिक्षा अधिकारी भास्कर देवांगन ,संकुल प्राचार्य ईश्वर देवदास, शाला प्राचार्य रमेश वर्मा एवं समन्वयक अखिलेश गिरी गोस्वामी एवं विकास खंड के शिक्षकों द्वारा हर्ष व्यक्त किया गया है।

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