बांगो में खूब चला मनरेगा में फर्जीवाड़ा, दुबारा सोशल आडिट में उघड़ी परतें

रोजगार सहायक समेत मनरेगा कर्मचारी अधिकारी संदेह के दायरे में
0सड़क, शौचालय, डबरी में फर्जी बिल भुगतान

कोरबा-बांगो। कोरबा जिले के पोड़ी-उपरोड़ा विकासखण्ड अंतर्गत बांगो पंचायत में मनरेगा से विकास के नाम पर बड़ा खेल हुआ है। महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) का सोशल ऑडिट में रुपये देकर अपने घर मे बैठकर मनमाना पॉजिटिव रिपोर्ट बनवाने का मामला उजागर होने के बाद दुबारा ऑडिट में गड़बड़ी पकड़ी गई है।

अब यह तो अधिकारी तय करेंगे कि कौन रिपोर्ट गलत है और कौन सही? पोड़ी उपरोड़ा विकासखंड के प्रत्येक ग्रामो मे सोशल ऑडिट का कार्य चल रहा है। गांव मे मनरेगा के तहत हुए कार्यो का भौतिक सत्यापन किया जा रहा है वहीं सभा कर उक्त कार्यो पर कमियों को ग्रामीणों व पंचो को बताया जा रहा, लेकिन इसके विपरीत ग्राम पंचायत बांगो मे रोजगार सहायक के द्वारा बड़ा खेल किया जा रहा है। ना ही सही से जांच की जा रही ना ही सभा आयोजित की जा रही। कुछ दिन पूर्व ही बांगो में सोशल ऑडिट कर्मचारी भौतिक सत्यापन करने पहुचे थे। कार्यों का सत्यापन तो किया गया लेकिन सभी फर्जी सत्यापन किये गये। मनरेगा के तहत जितने काम हुए हैं खुलकर भ्रष्टाचार किया गया जबकि ऑडिटर ने सभी काले कारनामों को छिपाते हुए सब सही दर्शा दिया गया। उक्त सभी कारनामो का खुलासा तब हुआ ज़ब ग्रामीणों ने गांव में पुनः आडिट कराने की मांग की। जिले के सोशल आडिट अधिकारियों ने खुद सत्यापन की जांच की तो पता चला कि रोजगार सहायक ने मनमाना तरीके से फर्जी बिल लगाया था। जो काम हुए ही नहीं उसके भी लाखों के भुगतान किये गए वहीं वर्तमान में शौचालय के नाम से भी राशि आहरण की गई। बांगो में मनरेगा के तहत किए गए कार्यों की गुणवत्ता खराब निकली जिससे निर्धारित बजट का बड़ा हिस्सा भ्रष्टाचार में चला गया। कई परियोजना के लिए फर्जी मस्टर रोल बनाए गए, जिनमें गलत तरीके से मजदूरी भुगतान किया गया।

1600 मीटर मुरुमीकरण में घोटाला, 6 फर्जी शौचालय
सोशल आडिट में सत्यापन के दौरान जांच हुई जिसमें 40 शौचालय की पात्रता थी और पास हुआ 36 शौचालय, वहीं जांच में 6 फर्जी शौचालय पाए गए, जिनके घर शौचालय ही नहीं बना। पूर्व के सभी 36 शौचालय भी अधूरे हैं जिनका फर्जी जियो टैग कर सभी राशि आहरण की गई। डबरी निर्माण कार्य में मस्टर रोल फर्जी बनाया गया। यहां के सभी निर्माण काम में अनियमितता पाई गई। पहाड़ ऊपर मुरुम की जगह मिट्टी डाल दी गई वहीं सड़क निर्माण के नोटिस बोर्ड भी नहीं लगाए गए। डेढ़ किलोमीटर का सड़क कार्य सही नहीं पाया गया, रोलर मशीन नहीं चला लेकिन लगभग दो लाख का बिल भुगतान किया गया। यह सारा खेल अधिकारियों की मिली भगत से किया गया। यह सारा खेल अधिकारियों की मिली भगत से किया गया। ग्रामीणों व पंचों द्वारा बार-बार शिकायत के बावजूद रोजगार सहायक को आधिकारिक संरक्षण मिलता रहा जिसके कारण बेबाक तरीके से बांगो ग्राम पंचायत में खेल होता रहा।

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