मोदी सरकार का बड़ा निर्णय, खाद्य तेलों के दाम होंगे कम

नईदिल्ली 14 अक्टूबर। खाने के तेलों के दाम में कमी लाने के लिए केंद्र सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। सरकार के फैसले से त्योहारों से पहले लोगों को महंगाई से थोड़ी राहत मिल सकती है। केंद्र सरकार ने कच्चे सोयाबीन और सूरजमुखी तेल पर लगने वाला आयात शुल्क को 6 महीने के लिए खत्म कर दिया है। क्रूड पाम ऑयल पर लगने वाला एग्री सेस को 20 फीसदी से घटाकर 7.5 फीसदी कर दिया है। जबकि क्रूड सोया और सनफ्लावर पर सेस 5 फीसदी कर दिया गया है। केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड ने एक अधिसूचना में कहा कि शुल्क में कटौती 14 अक्टूबर से प्रभावी होगी और 31 मार्च, 2022 तक लागू रहेगी। यानी अगले साल 31 मार्च तक इन पर इंपोर्ट ड्यूटी नहीं लगेगा। हालांकि रिफाइंड सोया ऑयल और सनफ्लावर ऑयल पर आयात शुल्क लगता रहेगा।

कीमतों में 15 रुपये प्रति लीटर तक की कमी आ सकती है। कटौती के बाद कच्चे पाम पर 8.25 प्रतिशत, सोयाबीन पर 5.5 फीसदी और सूरजमुखी के तेल पर 5.5 प्रतिशत प्रभावी सीमा शुल्क होगा। सरकारी ऐलान के मुताबिक खाद्य तेल में अब केवल कच्चे पाम तेल पर 7.5 फीसद कृषि अवसंरचना विकास उपकर (एआईडीसी) लगेगा, जबकि कच्चे सोयाबीन तेल और कच्चे सूरजमुखी तेल के लिए यह दर 5 फीसदी होगी। इसके अलावा सूरजमुखी, सोयाबीन, पामोलिन और पाम तेल की रिफाइंड किस्मों पर आयात शुल्क को 32.5 फीसदी से घटाकर 17.5 फीसदी कर दिया गया है। सरकार के इस फैसले ने आने वाले दिनों में खाद्य तेल सस्ती हो सकती है।

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