चिटफंड कंपनी का निवेश वापस मिलने की उम्मीद में उमड़ी भीड़

कोरबा 5 अगस्त। चिटफंड कंपनियों में निवेश कर ठगे गए जिले के हजारों पीड़ितों को रिफंड कराने उनके आवेदन लेने की कवायद कहीं कोरोना की तीसरी लहर को न्यौता न देदे। 6 अगस्त तक पीड़ितों के आवेदन लेने की व्यवस्था कार्यालय कलेक्टोरेट स्थित लोक सेवा केंद्र एवं सभी सातों तहसीलों में की गई है।

जिला प्रशासन द्वारा बुधवार को ही सार्वजनिक स्थलों में बिना मास्क व सही तरीके से मास्क नहीं लगाने वालों के विरुद्ध 500 रुपए का अर्थदंड सहित वैद्यानिक कार्यवाई किए जाने के निर्देश दिए गए थे। लेकिन इस आदेश की कलेक्टोरेट में ही गुरुवार को धज्जियां उड़ गई। दरअसल छत्तीसगढ़ शासन गृह जेल मंत्रालय के निर्देशानुसार चिटफंड पीड़ितों का आवेदन लेने की कवायद शुरू हो गई है । जिला प्रशासन ने चिटफंड पीड़ितों के लिए 2 से 6 अगस्त तक कार्यालय कलेक्टोरेट सहित समस्त सातों तहसीलों में आवेदन लेने की व्यवस्था की है। जिले में कम समय में अधिक कमाई की लालच में चिटफंड कंपनियों से हजारों निवेशक लाखों करोड़ों रुपए निवेश कर ठगी का शिकार हो चुके हैं। जैसे ही प्रशासन के इस निर्णय की जानकारी उन्हें मिली सभी आवेदन स्थलों पर टूट पड़े हैं। लेकिन हजारों की संख्या में न्याय की आश के लिए पहुंचे लोग बदइंतजामी की वजह से कोविड प्रोटोकॉल तोड़ संक्रमण को न्यौता दे रहे हैं।

गुरुवार को कलेक्टोरेट स्थित लोकसेवा केंद्र में ही इसका नजारा दिखा जहाँ हजारों की संख्या में लोग रिफंड की आश में आवेदन जमा करने पहुँचे थे। तीसरी लहर की आहट शुरू हो गई है। जिले में कोरोना संक्रमण भी बढ़ रहा है । लेकिन इन सबसे बेपरवाह हजारों लोग एक दूसरे से चिपक चिपक कर आवेदन जमा करते नजर आए। अधिकांश बिना मास्क के पहुंचे थे। वहीं जो मास्क लेकर आए थे वो भी मास्क को सही ढंग से नहीं लगाए थे। लोगों के गले मे मास्क लटक रहे थे। निश्चित तौर पर ये लापरवाही जिले में कोरोना संक्रमण में बढ़ोत्तरी को न्यौता दे सकती है।

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