कोरबा में कोरोना नियंत्रण जन जागरूकता अभियान शुरू… शिक्षा और महिला बाल विकास विभाग की पहल

कोरबा 17 अप्रैल। दुनिया के सभी देशों में कोरोना के मामले निरंतर बढ़ रहे हैं ।हमारा देश भी इस समय इस महामारी के कारण विषम परिस्थितियों से गुजर रहा है। निरंतर बढ़ते मामलों के कारण चिकित्सा विभाग की जिम्मेदारी बहुत बढ़ गई है। सभी के लिए बेड, ऑक्सीजन सिलेंडर, दवाइयां उपलब्ध कराना प्रशासन के लिए एक चुनौती बन गया है। कोरबा में कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए शिक्षा विभाग एवं महिला बाल विकास ने संयुक्त रूप से कोरोना नियंत्रण जन जागरूकता अभियान प्रारंभ किया है। जिला शिक्षा अधिकारी सतीश कुमार पाण्डेय ने बताया कि इस अभियान का मुख्य उद्देश्य कोरोना को प्रारंभ में ही मात देना और कोरोना की चेन को तोड़ना है। उन्होंने बताया कि इस समय सभी विद्यालय बंद है। लॉकडाउन के कारण लगभग डेढ़ लाख विद्यार्थी घर पर ही हैं। अतः महिला बाल विकास के अधिकारी- कर्मचारियों, शासकीय एवं अशासकीय विद्यालयों के प्राचार्य शिक्षकों , स्काउट गाइड के पदाधिकारियों के सहयोग से तीन चरणों में यह अभियान चलाया जा रहा है।

प्रथम चरण में ऑनलाइन एवं यूट्यूब के माध्यम से वीडियो, चित्रों की सहायता से विद्यार्थियों एवं उनके परिजनों, समाज के लोगों से अपील की जा रही है कि वे कोरोना प्रोटोकॉल का पालन करें। मास्क पहने , सैनिटाइजर उपयोग करें, बार-बार साबुन से हाथ धोए, बेवजह घर से बाहर ना निकले और सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखें। ऑनलाइन कक्षाओं के लिए विद्यार्थियों के समूह बने हुए हैं । उस समूह में शिक्षकों द्वारा इस महामारी से बचने के उपाय, होम आइसोलेशन में नियमों का पालन एवं प्रारंभिक उपचार बताया जा रहा है। अभियान के दूसरे चरण में गीतों के माध्यम से छात्रों एवं लोगों को प्रेरित किया जा रहा है । प्रेरणादायक गीतों का आकर्षण ढंग से प्रस्तुतीकरण कर उसके वीडियो छात्रों के समूह में प्रेषित किए जा रहे हैं। इन गीतों के माध्यम से लोगों को जागरूक किया जा रहा है। तीसरे चरण में शिक्षकों द्वारा समाज के लोगों,छात्रों, उनके पालकों,शाला विकास एवम प्रबंधन समिति के सदस्यों,मध्यान भोजन की महिला स्व सहायता समूह की सदस्यों,स्थानीय जनप्रतिनिधियों की काउंसलिंग की जा रही है। वेबैक्स, जूम या गूगल मीटिंग लेकर या टेलिफोनिक चर्चा कर इनसे सीधे जुड़ कर कोरोना संक्रमण से बचाव , पॉजिटिव होने पर सावधानियां, 45 वर्ष के ऊपर के लोगों को वैक्सीनेशन के लिए प्रेरित करना, गरम पानी की भाप का इस्तेमाल करना, गुनगुना पानी पीना, पोषक आहार लेना आदि महत्वपूर्ण जानकारियां दी जा रही हैं।

इस जानकारी को छात्रों द्वारा अपने रिश्तेदारों, दोस्तों तक पहुंचाने की अपील की जा रही है।अभियान का मकसद छात्रों को जागरूक करना , उनकी समस्याओं को सुनना एवं उनका मनोबल बढ़ाना है । जिससे उस संक्रमण से ज्यादा से ज्यादा लोगों को बचाया जा सके और इस कोरोना की जंग को जीता जा सके है। शुक्रवार से प्रारंभ हुए इस अभियान में अब तक 168 शासकीय विद्यालयों के लगभग 10000 बच्चों की काउंसलिंग की जा चुकी है । इस अभियान में 180 शासकीय विद्यालयों के प्राचार्य, 109 अशासकीय विद्यालयों के प्राचार्य, 118 संकुल शैक्षिक समन्वयक, 1130 व्याख्याता, 518 मिडिल स्कूल प्रधान पाठक, 458 प्राथमिक शाला प्रधान पाठक एवं 5316 शिक्षक निरंतर कार्य कर रहे हैं।

इस अभियान के माध्यम से छात्रों की स्वास्थ्य संबंधी जानकारी, उनके परिवारों की स्वास्थ्य संबंधी जानकारी शिक्षकों तक पहुंच चुकी है। इस प्रकार इस कोरोना नियंत्रण जन जागरूकता अभियान के माध्यम से जागरूकता के साथ-साथ उस मुहल्ले की स्वास्थ्य संबंधी जानकारी भी प्राप्त हो जा रही है, जिससे इलाज एवं रोकथाम आसान हो जाएगा । यह अभियान 16 अप्रैल से प्रारंभ होकर जब तक यह कोरोना संक्रमण समाप्त नहीं हो जाता तब तक यह अभियान निरंतर चलता रहेगा।

Spread the word