डीजल दरों में वृद्धि होने से यात्री बसों के सामने संकट

कोरबा 28 जुलाई। डीजल की दरों में वृद्धि होने के चलते यात्री बसों के सामने संकट बना हुआ है । अनेक रास्तों पर बसों की संख्या या तो 50 फ़ीसदी हो गई है या फिर इससे भी कम। यात्रियों के नहीं मिलने से बसों को चला पाना काफी मुश्किल काम हो गया है। यही कारण है कि बसों के चालक और कंडक्टर ने दूसरे व्यवसाय में प्रवेश कर लिया है।

कच्चे तेल की कीमतों में लगातार बढ़ोतरी होने के कारण डीजल पेट्रोल की कीमत में इजाफा होने का सिलसिला जारी है वर्तमान में 100 रुपए प्रति लीटर की दर पर डीजल की बिक्री हो रही है इसके कारण यात्री परिवहन काफी खर्चीला हो गया है लॉकडाउन की वजह से पहले से ही बस मालिक और उनके कर्मचारी परेशान चल रहे थे वर्तमान स्थिति में कई तरह की दिक्कत बनी हुई है इसके कारण बसों का संचालन करना काफी पेचीदा हो गया है बस मालिक बताते हैं कि एक तरफ बसका खर्च नहीं निकल पा रहा है और दूसरी तरफ यात्री नहीं मिल रहे हैं। अंबिकापुर और बिलासपुर के रास्ते पर बसों की संख्या 50 फ़ीसदी केआसपास रह गई है जबकि कवर्धा और जसपुर के रास्ते पर अब केवल एक-एक बस चल रही है। ओडिशा और झारखंड इंटर स्टेट रूट पर गाडिय़ां बंद है।

बस मालिक बताते हैं कि आर्थिक कारणों से अनेक कर्मचारियों ने अपना व्यवस्था बदल दिया है और वे दूसरे काम में सक्रिय हो गए हैं। दूसरी ओर बताया जा रहा है कि यात्री किराया को 1 महीने में बढ़ाने की बात सरकार के द्वारा कहीं जा रही है। पिछले दिनों कई मांगों को लेकर बस मालिकों के द्वारा प्रदर्शन किया गया था इसके बाद सरकार ने मांगों पर कदम उठाने की बात कही थी फिलहाल विभिन्न मार्गों पर जो स्थिति नजर आ रही है उसे देखते हुए लगता है कि आने वाले दिनों में यात्री बसें और भी कम हो सकती हैं।

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