रेंजर से डेढ़ करोड़ की वसूली का मामला, आरोपी पत्रकार वर्षा तिवारी की जमानत अर्जी खारिज

अतिरिक्त लोक अभियोजक स्वतंत्र तिवारी ने की शासन की ओर से पैरवी….

शुभांशु शुक्ला

मुंगेली 11 फरवरी। तथाकथित पत्रकारों द्वारा रेंजर से ब्लैकमेलिंग कर 1 करोड़ 40 लाख रुपये ऐंठने का हाई प्रोफाइल मामला पूरे प्रदेश में चर्चा का विषय बना हुआ हैं। आज इस मामले की आरोपी कथित पत्रकार वर्षा तिवारी का जमानत का आवेदन कोर्ट ने खारिज कर दिया।

सिटी कोतवाली मुंगेली में 03 फरवरी 2021 को सी. आर. नेताम वन क्षेत्रपाल मुंगेली के द्वारा एक रिपोर्ट दर्ज कराई गई थी जिसमें परमवीर व अन्य के विरुद्ध न्यूज 24 का रिपोर्टर बनकर एवं सी.बी.आई. जांच का हवाला देकर लगभग 1 करोड 40 लाख रूपये की अवैध वसूली एवं रूपये न देने पर जान से मारने की धमकी देने के संबंध में शिकायत पत्र प्रस्तुत किया गया था मामले में कार्यवाही करते हुये थाना सिटी कोतवाली मुंगेली में अपराध कमांक 48/21 धारा 384, 386, 34 भादवि पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए पुलिस अधीक्षक मुंगेली अरविंद कुमार कुजूर द्वारा तत्काल आरोपी पतासाजी हेतू टीम गठित कर निर्देशित करने एवं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक मुंगेली अनिल कुमार सोनी, एसडीओपी मुंगेली तेजराम पटेल के मार्गदर्शन में आरोपी परमवीर मरहास पिता स्व. प्यारा सिंह उम्र 40 वर्ष निवासी मिनोचा कालोनी बिलासपुर एवं वर्षा तिवारी पिता विपिन तिवारी उम्र 30 वर्ष निवासी नेचर सिटी बिलासपुर को हिरासत में लिया गया।

कोतवाली पुलिस ने आरोपी वर्षा तिवारी को गिरफ्तार कर न्यायालय मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी मुंगेली के समक्ष रिमांड प्रस्तुत किया गया जहां उसे न्यायिक अभिरक्षा में निरुद्ध कर दिया गया, अभियुक्ता वर्षा तिवारी के द्वारा अधीनस्थ न्यायालय मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी मुंगेली के समक्ष जमानत आवेदन प्रस्तुत किया गया जिसे न्यायालय द्वारा निरस्त कर दिया गया। उसके बाद अभियुक्ता की ओर से जिला एवं सत्र न्यायालय में जमानत आवेदन प्रस्तुत किया गया जिसकी सुनवाई दिनांक 10.02.2021 को अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश प्रबोध टोप्पो के न्यायालय में की गई जिसमें बचाव पक्ष के अधिवक्ता ने अभियुक्ता के बचाव में कई तर्क पेश किए, जिस पर अतिरिक्त लोक अभियोजक स्वतंत्र तिवारी ने छ. ग. शासन द्वारा सिटी कोतवाली पुलिस मुंगेली की ओर से पैरवी करते हुए शासन का पक्ष रखा, जिस पर आज अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश प्रबोध टोप्पो ने अपराध की गंभीरता एवं अन्य परिस्थितियों को ध्यान रखते हुए अभियुक्ता वर्षा तिवारी की जमानत याचिका खारिज कर दी हैं।

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