बड़ी खबर: यूक्रेन युद्ध रोकने को तैयार हुए पुतिन

रूस के राष्ट्रपति पुतिन कुछ शर्तों के साथ यूक्रेन में युद्ध रोकने को तैयार हो गए हैं। हालांकि यह आधिकारिक तौर पर अभी रूस की ओर से ऐलान नहीं किया गया है, मगर रॉयटर्स ने रूसी सूत्रों के हवाले यह दावा किया है।

मॉस्को/लंदनः रूस-यूक्रेन युद्ध को लेकर सबसे बड़ी खबर सामने आ रही है। रॉयटर्स ने सूत्रों के हवाले बताया है कि पुतिन यूक्रेन युद्ध रोकने को तैयार हो गए हैं। रॉयटर्स ने 4 रूसी सूत्रों के हवाले यह सनसनीखेज दावा किया है, जिसमें कहा गया है कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन बातचीत के जरिए यूक्रेन में युद्ध को रोकने के लिए तैयार हैं। मगर शर्त ये है कि युद्धविराम के बाद यूक्रेन और पश्चिमी देश यदि कोई प्रतिक्रिया नहीं दें तो यह संभव है। पुतिन के करीबी तीन सूत्रों ने कहा कि अनुभवी रूसी नेता ने सलाहकारों के एक छोटे समूह के सामने इस बात पर निराशा व्यक्त की थी कि जेलेंस्की के साथ वार्ता को बाधित करने के लिए पश्चिमी देशों का हाथ था। पुतिन जब तक चाहें तब तक वह इस युद्ध को लड़ सकते हैं, मगर अब वह इसे लंबा नहीं खींचना चाहते। 

पुतिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने टिप्पणी के अनुरोध के जवाब में कहा कि क्रेमलिन प्रमुख ने बार-बार स्पष्ट किया है कि रूस अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए बातचीत के लिए तैयार है, उन्होंने कहा कि देश “अनन्त युद्ध” नहीं चाहता है। वहीं इस मामले पर यूक्रेन के विदेश और रक्षा मंत्रालय ने सवालों का जवाब नहीं दिया। अभी पिछले हफ्ते रूस के रक्षा मंत्री के रूप में अर्थशास्त्री आंद्रेई बेलौसोव की नियुक्ति को पश्चिमी सैन्य और कुछ राजनीतिक विश्लेषकों ने एक लंबे संघर्ष को जीतने के लिए रूसी अर्थव्यवस्था को स्थाई करने के रूप में देखा था। 

रूस को गति देना चाहते हैं पुतिन

कहा जा रहा है कि रूस बीतों हफ्तों में रणनीतिक रूप से यूक्रेनी क्षेत्रों पर हावी है और बढ़त बनाए हुए है। मगर रूस अब युद्ध को बहुत लंबा नहीं खींचना चाहता। वहीं छह साल के नए कार्यकाल के लिए मार्च में फिर से चुने गए पुतिन रूस को गति देने के लिए युद्ध को जीतना चाहेंगे। इसके लिए वह यूक्रेन पर बढ़त जारी रखेंगे। द्वितीय विश्व युद्ध के बाद यह यूरोप का सबसे बड़े जमीनी संघर्ष है। अब तक दोनों पक्षों के हजारों लोग इस युद्ध में मारे जा चुके हैं। इस दौरान रूस की अर्थव्यवस्था पर पश्चिम की ओर से व्यापक प्रतिबंध लगाए गए। सूत्रों ने कहा कि पुतिन समझते हैं कि किसी भी नई प्रगति के लिए एक और राष्ट्रव्यापी लामबंदी की आवश्यकता होगी, जो वह नहीं चाहते। एक सूत्र ने कहा कि सितंबर 2022 में पहली लामबंदी के बाद उनकी लोकप्रियता कम हो गई थी। इसलिए भी अब वह युद्ध विराम की सोच रहे हैं। (रॉयटर्स)

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