रेल अंडरपास से जन सामान्य को मिलेगी राहत, मुआवजा और पुनर्वास देने की मांग
कोरबा 11 जून। पावर सिटी कोरबा में प्रस्तावित संजय नगर के रेल अंडरपास के लिए प्रक्रियाएं लगातार आगे बढ़ रही हैं। टेंडर की प्रक्रिया के साथ कामकाज आगे रफ्तार पकड़ेगा। इससे पहले संबंधित क्षेत्र के प्रभावित लोग आगे की चुनौतियों को लेकर चिंतित हैं। मंगलवार को ऐसे लोग जिला प्रशासनिक कार्यालय पहुंचे और अधिकारी को अपनी परेशानी बताई। उन्होंने इस मामले में मुआवजा और पुनर्वास देने की मांग की।
चारों तरफ रेलवे क्रॉसिंग से घिरे हुए शहर में सवारी गाड़ी और मालगाडियों की निरंतर आवाजाही के कारण परेशानियां है। काफी लंबे समय से लोग इन चुनौतियों से संघर्ष कर रहे हैं इसके कारण कुल मिलाकर यहां के सामान्य जनजीवन पर प्रतिकूल असर पड़ रहा है अलग-अलग स्तर से रेलवे के उच्च अधिकारियों और रेल मंत्रालय को अवगत कराने का काम किया गया मांग की गई की राहत के लिए वैकल्पिक उपाय किए जाने चाहिए लंबे समय के बाद रेल प्रबंधन ने सहूलियत देने की सहमति दी संजय नगर रेलवे क्रॉसिंग पर रेल अंडरपास का निर्माण इस वर्ष के उत्तरार्ध में स्वीकृत किया गया। 30 करोड़ रुपए इस प्रोजेक्ट पर खर्च किए जाने हैं। शेयर कास्ट बेसिस पर होने वाले इस निर्माण कार्य की आधी राशि रेलवे देगा और इतनी ही राशि राज्य सरकार की ओर से उपलब्ध कराई जाएगी। इस प्रस्ताव पर सहमति हुई है और इसके लिए शुरुआती कार्यवाही हो चुकी है। नगर पालिका निगम के वार्ड संख्या 11 के अंतर्गत रेल अंडरपास का निर्माण आने वाले समय में कराया जाना है। इस काम को परवान चढ़ाने के लिए आसपास कि उस जमीन को खाली कराई जानी है जो मूल रूप से जल संसाधन विभाग के स्वामित्व की है और उस पर अन्य लोगों का अतिक्रमण है।
सिंचाई विभाग की ओर से इस मामले में संबंधित क्षेत्र के उन सभी लोगों को 7 जून की स्थिति में नोटिस जारी किया गया है और एक सप्ताह के भीतर मौके से अस्थाई और स्थाई प्रकृति के निर्माण को हटाने के लिए कहा गया है। नोटिस मिलने के बाद लोगों की चिंता बड़ी है। मानसून के सक्रिय होने से ठीक पहले इस प्रकार की कार्यवाही ने लोगों को चिंतित किया है। उनकी चिंता इस बात को लेकर है कि इस स्थिति में कहां रहे और क्या करें, यह अपने आप में परेशानी का विषय है। क्षेत्र के प्रभावित लोगों ने मंगलवार को जन दर्शन में प्रशासन के पास इस मामले को लेकर आवेदन दिया। मांग की है कि उन्हें कहीं और बसाने के लिए व्यवस्था दी जाए और नुकसान की भरपाई के लिए मुआवजा भी। इसके पीछे लोगों के अपने तर्क हैं और कारण भी। लोग चाहते हैं कि सरकार संवेदनशीलता के साथ कई मामलों में लगातार कार्रवाई कर रही है इसलिए उसके तंत्र से अपेक्षा करना हमारा दायित्व है।