तीन गांवों में सरकार की योजना का अतिरिक्त चावल नहीं मिलने को लेकर लिखित में शिकायत

कोरबा 2 जनवरी। जिले के सब डिविजन कोरबा के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत फुलसरी और उसके अधीन 2 गांव में कार्डधारी उपभोक्ताओं को सरकार की योजना के अंतर्गत पिछले 3 महीने का अतिरिक्त चावल नहीं दिया गया। प्रारंभिक महीने में बहानेबाजी करने के साथ लोगों को भरोसे में लिया गया। लंबी अवधि बीतने के बाद लोगों को फर्जीवाड़ा का एहसास हुआ। अब उन्होंने इस मामले में प्रशासन से शिकायत करना तय किया है।

विकासखंड कोरबा के अंतर्गत कुलसरी ग्राम पंचायत से जुड़े इस मामले में जो लोग प्रभावित हैं उनकी संख्या 500 से ज्यादा बताई जा रही है। सरकार की सार्वजनिक वितरण प्रणाली के अंतर्गत यह लोग सस्ते चावल के लिए पात्र हैं। वैश्विक महामारी और उसके प्रभाव के कारण लोगों के सामने आई समस्याओं को देखते हुए केंद्र सरकार ने हर उपभोक्ता को प्रति महीने 5 किलो अतिरिक्त खाद्यान्न देना तय किया है। इसे वर्ष 2021 के नवंबर महीने तक जारी रखा जाना था। प्राप्त सूचनाओं में बताया गया कि वर्ष 2021 के सितंबर अक्टूबर और नवंबर महीने में इस पंचायत के अंतर्गत आने वाले 3 गांव के लोगों को अतिरिक्त चावल का वितरण करने में संचालन कर्ता के द्वारा किसी प्रकार से दिलचस्पी नहीं दी गई। जबकि सरकारी तंत्र के द्वारा बनाई गई व्यवस्था के अंतर्गत पंचायत के अधीन चल रही उचित मूल्य की दुकान के कोटेदार को संपूर्ण मात्रा आवंटित कर दी गई थी।

बताया जा रहा है कि इलाके में कई गांव के प्रतिनिधियों सहित खाद्य विभाग के कर्ताधर्ताओं को प्रभाव में लेने के साथ किसी कलीम नामक व्यक्ति ने फुलसरी मैं उचित मूल्य की दुकान को एक तरह से अपने कब्जे में ले लिया। यह सब कौन से सिद्धांत के आधार पर संभव हुआ, इस बारे में गांव के सरपंच से लेकर सचिव और अन्य लोगों को कोई जानकारी नहीं है। सितंबर से लेकर अगले 3 महीने तक लोगों को निर्धारित मात्रा में ही चावल उपलब्ध हो सका। जब उन्होंने अतिरिक्त मात्रा के अंतर्गत प्रति उपभोक्ता पर 5 किलो चावल दिए जाने को लेकर दबाव बनाया तो उन्हें अलग-अलग कारण बताए गए और चलता कर दिया गया। इस तरह से अकेले एक पंचायत में ही इस अवधि में हजारों किलो चावल का गोलमाल करने के साथ लोगों को जहां उनके अधिकार से वंचित किया गया वहीं सरकार को उसकी ही योजना मैं चपत लगाई गई। पंचायत क्षेत्र के सैकड़ों लोगों ने इसी अवधि में अतिरिक्त मात्रा का चावल नहीं मिलने को लेकर लिखित में शिकायत की है और जल्द ही इस बारे में प्रशासन के अधिकारियों को कार्रवाई करने के लिए कहे जाने की मानसिकता बनाई है।

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